Own House Vs SIP Explains: खुद का मकान लेना सही या एसआईपी, 10 साल में कौन बनाएगा ज्यादा अमीर?
June 16, 2023मोहित की जब नौकरी लगी, तब उसने भी सोचा कि ठीक-ठाक पैसे कमाकर वह अपना खुद का घर खरीदेगा. इसकी वजह भी थी, बचपन से ही वह अपने माता-पिता से यही सुनते आया था कि ‘अपना घर आखिर अपना होता है’. लेकिन फाइनेंस में होशियार मोहित की जब समय के साथ समझ बढ़ी, तब उसने अपना घर लेने और बाकी इंवेस्टमेंट प्लान के बीच में से क्या बेहतर है इसका कैलकुलेशन किया. वही कैलकुलेशन आप भी समझ लीजिए.
दरअसल ‘अपना घर’ लेने के पीछे जो सबसे मजबूत तर्क दिया जाता है, वह यह कि प्रॉपर्टी में इंवेस्टमेंट का रिटर्न अच्छा मिलता है. लेकिन क्या ये सच में वैलिड पॉइंट है? और क्या आप सच में अपनी प्रॉपर्टी का ‘रिटर्न’ हासिल कर पाते हैं.
मकान खरीदने के पैसे का गणित
अपना मकान लेने का फैसले कितना सही होता है, इस बात को उदाहरण से समझेंगे. दिल्ली-एनसीआर के अधिकतर इलाकों में एक अफॉर्डेबल 2BHK हाउस की कीमत करीब-करीब 40 लाख रुपये है. इस लिहाज से देखा जाए तो आपको 15 प्रतिशत डाउनपेमेंट के हिसाब से 6 लाख रुपये चाहिए. वहीं रजिस्ट्री खर्च और हाउस फिनिशिंग पर होने वाले खर्च को लेकर ये रकम करीब 10 लाख रुपये हो जाती है. इस तरह एक अफॉर्डेबल घर खरीदने के लिए भी आपके पास कम से कम 10 लाख रुपये की रकम होनी चाहिए.
अब बाकी बची 30 लाख रुपये की रकम के लिए अगर आप 20 साल का होम लोन लेते हो, तब आपको 9 प्रतिशत सालाना के ब्याज पर होम लोन की करीब-करीब 25,000 रुपये महीना किस्त देनी होगी. ऐसे में आप ब्याज समेत 30 लाख रुपये की रकम के बदले में अगले 20 साल में 30 लाख रुपये ब्याज के दे चुके होंगे.
40 लाख के मकान के लिए चुकाने होंगे 88 लाख रुपये
यानी आपकी 40 लाख रुपये की प्रॉपर्टी के बदले आप 60 लाख रुपये होम लोन और ब्याज के मिलाकर और 10 लाख रुपये अपनी गाढ़ी सेविंग के खर्च कर चुके होंगे. इसके अलावा अगर अपनी 10 लाख रुपये की सेविंग पर लोन टेन्योर की तरह ही 20 साल मिलने वाले 9 प्रतिशत ब्याज का कैलकुलेशन करें, तो सिंपल इंटरेस्ट पर ही आपको 20 साल बाद 28 लाख रुपये की रकम मिलेगी. ध्यान रहे ये पूरी कैलकुलेशन 9 प्रतिशत के ब्याज पर है.
अब आप एक बार खुद से पूछिए कि क्या 20 साल बाद आपकी प्रॉपर्टी की वैल्यू इतनी होगी जो आपको 40 लाख रुपये के बदले में 88 लाख रुपये दिलवा दे. वहीं क्या आप तब इस पुराने घर को बेचकर रिटर्न कमाने की स्थिति में होंगे, वह भी तब जब दिल्ली-एनसीआर में फ्लैट्स और प्रॉपर्टी सरप्लस में हैं, कनेक्टिविटी बेहतर हो रही है, ऑफिसेस के काम वर्क फ्रॉम होम पर शिफ्ट हो रहे हैं.
SIP बढ़ाएगा 10 साल में 4 गुना अमीर
अब इसके उलट हम एसआईपी को समझते हैं. सिस्टमैटिक इंवेस्टमेंट प्लान आजकल एक काफी पॉपुलर निवेश ऑप्शन है. मोहित, जिसकी बात हमने ऊपर की थी. उसने जब सेविंग की कैलकुलेशन की, तो डाउनपेमेंट के लिए जमा किए 10 लाख रुपये को वनटाइम वाली एसआईपी स्कीम में इंवेस्ट कर दिया. बाकी पहले की तरह किराये के घर में रहता रहा और अपने ऊपर नई ईएमआई का कोई बोझ नहीं बढ़ाया.
एसआईपी में अगर हम औसत 15 प्रतिशत के रिटर्न का भी गणित लगाएं, तो 10 लाख रुपये के निवेश पर आपको 10.5 साल में करीब-करीब 40 लाख रुपये मिल सकते हैं. यानी आपका निवेश लगभग 10 साल में ही 4 गुना हो जाएगा. ये गणना 15 प्रतिशत के रिटर्न पर है.
इस हिसाब से भी देखें तो आप सिर्फ 10 लाख रुपये के निवेश पर 20 साल में ही 80 लाख से ज्यादा के मालिक बन जाएंगे. जबकि आप पर ईएमआई का कोई बोझ भी नहीं बढ़ेगा, जिसके चलते आप अपने अन्य खर्च मेंटेंन कर सकते हैं. बीते कुछ सालों में कई एसआईपी और म्यूचुअल फंड स्कीम ने तो 20 से 25 प्रतिशत तक का रिटर्न दिया है.