BREAKING NEWS : प्रसिद्ध हिंदू नेता आचार्य धमेन्द्र का निधन, जयपुर के SMS हॉस्पिटल में ली अंतिम सांस

BREAKING NEWS : प्रसिद्ध हिंदू नेता आचार्य धमेन्द्र का निधन, जयपुर के SMS हॉस्पिटल में ली अंतिम सांस

September 19, 2022 Off By NN Express

जयपुर, 19 सितम्बर । प्रसिद्ध हिंदू नेता रहे आचार्य स्वामी धर्मेंद्र का सोमवार को जयपुर के एसएमएस हॉस्पिटल के आईसीयू में इलाज के दौरान निधन हो गया। पिछले करीब 1 महीने पहले उन्हें स्वास्थ्य खराब होने के चलते एसएमएस हॉस्पिटल लाया गया था, जहां सोमवार की सुबह उन्होंने अंतिम सांस ली। वे एसएमएस हॉस्पिटल में डॉ. स्वाति श्रीवास्तव की यूनिट में भर्ती थे और आंत की बीमारी से ग्रसित थे।

कुछ दिन पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, लोक सभा स्पीकर ओम बिरला ने भी उनके स्वास्थ्य के बारे में जानकारी ली थी । पिछले सप्ताह भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया भी SMS अस्पताल पहुंचे और उनके स्वास्थ्य के बारे में जानकारी ली। आचार्य स्वामी धर्मेंद्र के दो पुत्र हैं, सोमेन्द्र शर्मा और प्रणवेन्द्र शर्मा है। सोमेन्द्र की पत्नी और आचार्य की पुत्रवधू अर्चना शर्मा वर्तमान में गहलोत सरकार में समाज कल्याण बोर्ड की अध्यक्ष है।

आचार्य धर्मेन्द्र के निधन पर देशभर में हिंदू संगठन से जुड़े लोगों ने दुख जताया है। आचार्य ने श्रीराम मंदिर आंदोलन में भी सक्रिय रहकर इस आंदोलन में अपना अहम योगदान दिया था। विश्व हिंदू परिषद से लम्बे समय तक जुड़े रहने के दौरान ये काफी चर्चा में रहे थे। वे राममंदिर मुद्दे पर बड़ी ही बेबाकी से बोलते थे। बाबरी विध्वंस मामले में जब फैसला आने वाला था तब उन्होंने फैसला आने से पहले कहा था कि मैं आरोपी नंबर वन हूं। सजा से डरना क्या? जो किया सबके सामने चौड़े में किया।

कौन थे आचार्य धमेन्द्र

महात्मा रामचन्द्र वीर महाराज के पुत्र आचार्य धर्मेन्द्र विश्व हिन्दू परिषद के केंद्रीय मार्गदर्शक मंडल में रहे है। उनका पूरा जीवन हिंदी, हिंदुत्व और हिन्दुस्थान के उत्कर्ष के लिए समर्पित रहा। वे महात्मा गांधी पर विवादित टिप्पणी देने के मामले में भी सुर्खियों में आ चुके है। आचार्य का जन्म 9 जनवरी 1942 को गुजरात के मालवाडा में हुआ। पिता महात्मा रामचन्द्र वीर महाराज के आदर्शो और व्यक्तित्व का इन पर ऐसा प्रभाव पड़ा कि इन्होंने 13 साल की उम्र में वज्रांग नाम से एक समाचारपत्र निकाला। आपको बता दें कि बाबरी विध्वंस मामले में लालकृष्ण आडवाणी, मुरली मनोहर जोशी, कल्याण सिंह, उमा भारती जितने भी लोग थे उसमें आचार्य धर्मेंद्र को भी आरोपी माना था।