Indus Public School,Dipka में विद्यार्थियों ने सीसीए एक्टिविटी के अंतर्गत प्रस्तुत किया आकर्षक एवं रोचक स्किट

Indus Public School,Dipka में विद्यार्थियों ने सीसीए एक्टिविटी के अंतर्गत प्रस्तुत किया आकर्षक एवं रोचक स्किट

December 21, 2022 Off By NN Express

KORBA/DIPKA,21 DECEMBER I नाटक को दृश्य काव्य मानकर भारतीय भाषाओं में चिरन्तन काल से इसकी रचना होती आ रही है। संस्कृत-साहित्य में नाटक-साहित्य की एक परिपूर्ण-परंपरा जरूर मिलती है। परंतु जिस ग्यारहवीं शताब्दी से हिंदी-साहित्य का आरंभ माना गया है, तब से लेकर आधुनिक काल के प्रथम चरण भारतेन्दु-युग तक रचे गए हिंदी-साहित्य में नाटकों की अल्पता स्पष्ट दिखाई देती है। इसी बीच लोगों में नाटक, रास-लीला, नौटंकी और रामलीला अथवा स्वाँग आदि के रूप में जरूर जीवित रहा। पर ललित-साहित्य में उसका सर्वथा अभाव हो गया। इसका कारण मुगल शासन को माना जाता है, जिसमें देवी-देवताओं एवं ईश्वर की नकल धर्म के विपरीत मानी गई है; जबकि ‘नट्-अनुकरणे’ से बने नाटक का अर्थ नकल करना अथवा जो कुछ भी घट-बीत चुका है, उस सबकी पुनर्रचना करना होता है।

नाटक’ साहित्य का एक अति प्राचिन रूप है। सर्वप्रथम भरत मुनि ने नाटक (नाट्य) के रूप-स्वरूप का सूक्ष्म विवेचन और विश्लेषण ‘नाट्यशास्त्र में किया था। नाट्य विद्या की दृष्टि से भारतीय साहित्य पूर्णत: समृद्ध साहित्य रहा है । नाट्य-लेखन की विस्तृत परंपरा हमारे यहां विद्यमान रही है। मध्य युग नाट्य-सृजन की दृष्टि से अपेक्षाकृत कुछ शिथिल युग रहा है, फिर भी नाट्य लेखन वहां भी किसी न किसी रूप में होता ही रहा है। किंतु आधुनिक युग तो जेसे अपनी प्रकृति में नाट्य धर्मी ही रहा है। नाट्य लेखन की प्रचुरता आधुनिक समय में निरंतर बनी रही। दीपका स्थित इंडस पब्लिक स्कूल में सीसीए एक्टिविटी के अंतर्गत स्किट कॉम्पिटिशन का आयोजन किया गया ।

इस प्रतियोगिता में कक्षा पहली से लेकर पाँचवीं तक के विद्यार्थियों ने अपनी प्रतिभा का लोहा मनवाया । यह प्रतियोगिता हाऊस वाइज आयोजित की गई जिसमें सफायर, रूबी, एमरल्ड एवं टोपाज हाऊस ने पार्टिशिपेट किया । सभी हाऊस को अलग-अलग थीम दिया गया था जिसमें सफायर हाऊस को सेव गर्ल्स चाइल्ड, एमरल्ड हाऊस को स्वच्छ भारत-स्वस्थ भारत, टोपाज हाऊस को हेल्दी फूड-जंक फूड एवं रूबी हाऊस को शहरी शिक्षा बनाम ग्रामीण शिक्षा थीम प्रदान किया गया था । सभी हाऊस के विद्यार्थियों ने अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन कर दर्शकगणों का मन मोह लिया । सभी हाऊसेस के मध्य मुकाबला बहुत ही रोचक एवं कड़ा रहा ।

इस कड़े मुकाबले में सफायर हाऊस ने सेव गर्ल्स चाइल्ड थीम पर अपनी जीवंत एवं भावुक प्रस्तुति देकर प्रथम स्थान प्राप्त किया वहीं टोपाज हाऊस ने हेल्दी फूड-जंक फूड थीम पर तर्कसंगत एवं रोचक प्रस्तुति देकर द्वितीय स्थान पर कब्जा किया तथा एमरल्ड हाऊस ने स्वच्छ भारत-स्वस्थ भारत विषय पर बेहतरीन प्रस्तुति देकर तृतीय स्थान प्राप्त किया वहीं रूबी हाऊस की भी प्रस्तुति काबिले तारीफ रही जिन्होंने शहरी शिक्षा बनाम ग्रामीण शिक्षा विषय पर अपनी प्रस्तुति दी । रूबी हाऊस को सांत्वना पुरस्कार प्रदान किया गया। यह प्रतियोगिता सीसीए इंचार्ज कु. नाजनीन सिद्दकी एवं कु. अंकिता रजक के दिशा निर्देशन में संपन्न हुआ एवं इस प्रतियोगिता में निर्णायक भूमिका प्रायमरी-प्री प्रायमरी कॉर्डिनेटर श्रीमती सोमा सरकार ने निभाई ।

विद्यालय प्राचार्य डॉ. संजय गुप्ता ने कहा कि सभी कलाओं की तरह, नाटक छात्रों को नए तरीके से संवाद करने और समझने की अनुमति देता है । नाटक एक ऐसी दुनिया में रहने और काम करने के लिए छात्रों को तैयार करने के लिए एक महत्वपूर्ण उपकरण है जो पदानुक्रम के बजाय तेजी से टीम ओरिएंटेड है । नाटक छात्रों को नेतृत्व का निर्माण करने में मदद करता है । नाटकीय कला शिक्षा समस्या समाधान में रचना को उत्तेजित करने का एक महत्वपूर्ण माध्यम है । नाटकीय अन्वेषण छात्रों को भावनाओं, विचारों और सपनों के लिए एक स्थान प्रदान कर सकता है, जिनके पास अन्यथा व्यक्त करने का साधन नहीं हो सकता है ।