कांग्रेस सरकार में हुए भ्रष्टाचार का शिकार हो रहे आदिवासी समाज के लोग : विकास मरकाम

कांग्रेस सरकार में हुए भ्रष्टाचार का शिकार हो रहे आदिवासी समाज के लोग : विकास मरकाम

September 9, 2024 Off By NN Express

आदिवासी शिक्षक की आत्महत्या से उठा बवाल: भ्रष्टाचार के आरोपों पर जांच की मांग

रायपुर । बालोद जिले के डोंडी के ग्राम घोटिया में शिक्षक दिवस के दिन प्रधान पाठक देवेंद्र कुमार कुमेटी की आत्महत्या ने राज्यभर में गहरे आक्रोश और दु:ख का माहौल पैदा कर दिया है। सुसाइड नोट में आदिवासी शिक्षक ने पूर्व वनमंत्री मोहम्मद अकबर समेत कई अन्य लोगों पर भ्रष्टाचार और नौकरी के नाम पर पैसे लेने का आरोप लगाया है।

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) जनजाति मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष विकास मरकाम ने इस घटना पर गहरा शोक व्यक्त करते हुए निष्पक्ष जांच की मांग की है। उन्होंने कहा, “आदिवासी समाज के सरलमना लोग कांग्रेस सरकार में हुए भीषण भ्रष्टाचार का शिकार हो रहे हैं। फॉरेस्ट गार्ड की नौकरी के नाम पर लोगों से भारी रकम ली गई और अब वे अपनी जान गंवा रहे हैं।”

सुसाइड नोट में गंभीर आरोप
आत्महत्या के बाद पुलिस द्वारा सार्वजनिक किए गए सुसाइड नोट में देवेंद्र कुमेटी ने पूर्व वनमंत्री मोहम्मद अकबर, हिरेन्द्र नेताम, सलीम खान और प्रदीप ठाकुर पर आरोप लगाया कि उन्होंने नौकरी के नाम पर उनसे पैसे लिए थे। इस घटना के बाद आदिवासी समाज में कांग्रेस सरकार के खिलाफ गहरा आक्रोश व्याप्त हो गया है।

आदिवासी समाज में नाराजगी
गोंडवाना गणतंत्र पार्टी से विधानसभा चुनाव लड़ चुके आदिवासी नेता मलेश मरकाम ने कहा, “आदिवासी समाज के लोगों को भ्रष्टाचार की दलदल में धकेला गया है। नौकरी देने के नाम पर ठगी और जालसाजी की गई, जिसका नतीजा आज इतना पीड़ादायक हो गया है।” उन्होंने मामले की निष्पक्ष जांच की मांग की है और कहा कि दोषियों को सख्त सजा मिलनी चाहिए।

कांग्रेस सरकार पर भ्रष्टाचार के आरोप
इस घटना के बाद भाजपा के आदिवासी नेता मंगलू परते ने कहा, “कांग्रेस सरकार में मंत्री से लेकर कार्यकर्ता तक भ्रष्टाचार में शामिल थे। इसी भ्रष्टाचार का असर आज आदिवासी समाज के एक बड़े तबके पर पड़ रहा है। आदिवासी शिक्षक की आत्महत्या इसी भ्रष्टाचार का नतीजा है।”

पूर्व मंत्री का इनकार
आरोपों का सामना कर रहे पूर्व वनमंत्री मोहम्मद अकबर ने कहा कि वह इस मामले में निर्दोष हैं और जिन लोगों के नाम सुसाइड नोट में लिखे गए हैं, उन्हें वह जानते भी नहीं। उन्होंने अपनी किसी भी प्रकार की संलिप्तता से इनकार किया है।

शिक्षक दिवस पर दुखद घटना

इस दुखद घटना ने राज्य के शिक्षक जगत और आदिवासी समाज में शोक का माहौल पैदा कर दिया है। शिक्षक दिवस के दिन हुए इस आत्महत्या ने सभी को झकझोर कर रख दिया है।