अनिल अंबानी की कंपनियों के शेयरों में भारी गिरावट, सेबी के बैन के बाद रिलायंस इंफ्रा 11% टूटा

अनिल अंबानी की कंपनियों के शेयरों में भारी गिरावट, सेबी के बैन के बाद रिलायंस इंफ्रा 11% टूटा

August 23, 2024 Off By NN Express

नई दिल्ली । प्रतिभूति बाजार नियामक सेबी की ओर से अनिल अंबानी और उनकी कंपनियों पर प्रतिबंध लगाए जाने के बाद उनसे जुड़े शेयरों में शुक्रवार को भारी गिरावट आई। सेबी ने अनिल अंबानी और आरएचएफएल के पूर्व प्रमुख अधिकारियों सहित 24 अन्य संस्थाओं को कंपनी से धन निकालने के लिए प्रतिभूति बाजार से पांच साल के लिए प्रतिबंधित कर दिया है। नियामक की इस कार्रवाई के बाद रिलायंस होम फाइनेंस लिमिटेड (आरएचएफएल) का शेयर एनएसई पर 5.12 प्रतिशत गिरकर 4.45 रुपये और बीएसई पर 4.90 प्रतिशत गिरकर 4.46 रुपये पर आ गया।

रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर के शेयर बीएसई पर 10.83 प्रतिशत गिरकर 209.90 रुपये पर कारोबार करते दिखे। एनएसई पर यह 8.89 प्रतिशत गिरकर 214.76 रुपये पर आ गया। इसके अलावा, रिलायंस पावर का शेयर बीएसई और एनएसई पर 5-5 प्रतिशत गिरकर 34.45 रुपये और 34.48 रुपये पर आ गया। मध्य सत्र के कारोबार में 30 शेयरों वाला बीएसई सेंसेक्स 57.32 अंक या 0.07 प्रतिशत बढ़कर 81,110.51 पर कारोबार कर रहा था, जबकि एनएसई निफ्टी 29.35 अंक या 0.12 प्रतिशत चढ़कर 24,840.85 पर पहुंच गया।

गुरुवार को सेबी ने उद्योगपति अनिल अंबानी, आरएचएफएल के पूर्व प्रमुख अधिकारियों सहित 24 अन्य संस्थाओं को कंपनी से धन के डायवर्जन के लिए पांच साल के लिए प्रतिभूति बाजार से प्रतिबंधित कर दिया था। सेबी ने अंबानी पर 25 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया है और उन्हें 5 साल की अवधि के लिए प्रतिभूति बाजार से जुड़ने, किसी भी सूचीबद्ध कंपनी में निदेशक या प्रमुख प्रबंधकीय कर्मी के रूप में, या बाजार नियामक के साथ पंजीकृत किसी भी मध्यस्थ से जुड़ने से रोक दिया है।

साथ ही, नियामक ने आरएचएफएल को छह महीने के लिए प्रतिभूति बाजार से प्रतिबंधित कर दिया। आरएचएफएल मामले में अंतिम आदेश पारित करते हुए, सेबी ने बताया कि अंबानी ने आरएचएफएल के प्रमुख प्रबंधकीय कर्मियों की मदद से, आरएचएफएल से धन निकालने के लिए एक धोखाधड़ी योजना बनाई थी। इसकी मदद से उन्होंने अपने से जुड़ी संस्थाओं को ऋण जारी किए थे। फरवरी 2022 में, बाजार नियामक सेबी ने एक अंतरिम आदेश पारित किया था और कंपनी से धन निकालने के आरोप में आरएचएफएल, अंबानी और तीन अन्य व्यक्तियों (अमित बापना, रवींद्र सुधाकर और पिंकेश आर शाह) को अगले आदेश तक प्रतिभूति बाजार से प्रतिबंधित कर दिया था।